शराब माफिया गैंगवार: घायल अर्जुन ठाकुर ने कहा – एके सिंह और पिंटू भाटिया का नाम FIR में क्यों नहीं लिखा

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शराब माफिया गैंगवार: घायल अर्जुन ठाकुर ने कहा - एके सिंह और पिंटू भाटिया का नाम FIR में क्यों नहीं लिखा
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इंदौर। इंदौर में शराब कारोबारियों के बीच शुरू हुआ गैंगवार में अब नया मोड़ लेता दिख रहा है। सोमवार को शराब सिंडिकेट के दफ्तर में जिस अर्जुन ठाकुर को गोली मारी गई थी उसने सिंडिकेट को लीड कर रहे एके सिंह और पिंटू भाटिया का नाम एफ आई आर में नहीं होने पर आपत्ति ली है। ‌‌‌‌‌

अर्जुन का कहना है कि जब वह अपने साथियों मोहन ठाकुर, मोहित आहूजा, रिंकू यादव वह बबलू तोमर के साथ सिंडिकेट के विजयनगर क्षेत्र स्थित ऑफिस में बैठा था तभी एके सिंह पिंटू भाटिया हेमू ठाकुर पिंटू ठाकुर और सतीश भाऊ कुछ लोगों के साथ वहां आए और फायरिंग शुरू कर दी।‌ सिंह और भाटिया दोनों अपने साथ आए लोगों के साथ गोली चला रहे थे और उनका कहना था कि किसी भी हालत में अर्जुन बच नहीं पाए। ‌ इसी दौरान चिंटु ठाकुर ने जो गोली चलाई वह उसे लगी और वह घायल होकर नीचे गिर पड़ा। ‌ इसके बाद सिंह और भाटिया, हेमू एवं चिंटु ठाकुर को लेकर वहां से भाग निकले।

अर्जुन ने विजयनगर टीआई को प्रेषित पत्र में जिसकी प्रति इंदौर के डीआईजी और पूर्वी क्षेत्र के एसपी को भी भेजी गई है कहा है कि विवाद मीटिंग के दौरान नहीं हुआ था।‌‌ उसे बुलाया मीटिंग के नाम पर था और वह जब अपने साथियों के साथ ए के सिंह और पिंटू भाटिया का इंतजार कर रहा था तभी यह लोग वहां आए और अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी।‌ उसने एफ आई आर में सिंह और भाटिया का नाम ना होने पर आपत्ति लेते हुए कहा कि अव्वल तो उसे फायर की प्रति दी ही नहीं गई थी और मांगने पर जब उसे प्रति मिली तो उसमें सिंह और भाटिया का नाम न देख उसे आश्चर्य हुआ। ‌ उसका कहना है कि उस पर हमला सिंह, भाटिया एवं हेमू ठाकुर चिंटु ठाकुर और सतीश भाऊ का संगठित हमला है।‌ इसलिए इस मामले में एके सिंह और पिंटू भाटिया को भी आरोपी बनाया जाना चाहिए। ‌‌

राजश्री अपोलो अस्पताल में भर्ती अर्जुन ठाकुर के इस आवेदन के बाद यह मामला अब नया मोड़ लेता दिख रहा है आज अस्पताल में कुछ लोगों ने अर्जुन से मुलाकात भी की। ‌ घटना के तीन नामजद आरोपी हेमू ठाकुर चिंटू ठकुर और सतीश भाऊ अभी पुलिस गिरफ्त से बाहर है। इनकी तलाश में पुलिस दल अलग-अलग स्थानों पर भेजे गए हैं। ऐसा माना जा रहा है कि अर्जुन के ताजा आवेदन के बाद सिंह और भाटिया के नाम भी आरोपी के रूप में दर्ज हो सकते हैं। ‌ सिंह के बारे में ऐसा बताया जा रहा है कि वे खुद को केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और प्रदेश की कैबिनेट मंत्री उषा ठाकुर का खासम खास बताते हैं। ‌ सिंह का तो यह भी दावा है कि 2013 में उन्होंने ही उषा ठाकुर को इंदौर 3 विधानसभा क्षेत्र से टिकट दिलवाया था। ‌‌‌‌‌

सोमवार रात पुलिस ने बाणगंगा क्षेत्र में स्थित हेमू ठाकुर के निवास पर दबिश भी दी थी और हर कमरे की तलाशी ली लेकिन उसका पता नहीं चल पाया। ‌ मकान की साज-सज्जा देख पुलिस दल भी चौंक पडा। एसपी पूर्व आशुतोष बागड़ी में हेमू, चिंटू और सतीश भाऊ की गिरफ्तारी पर 10000 रू का इनाम भी घोषित किया है। ‌ प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने गोली चलाने की घटना में लिप्त शराब माफिया पर एनएसए करने की बात कही है और यह भी कहा है कि इनके दुकान मकान जमीदोज भी किए जाएंगे।‌

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

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