कैदियों की जमानत के लिए बनाते थे फर्जी मेडिकल सर्टिफिकेट, वसूलते थे मोटी रकम

0
68

नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने फर्जी मेडिकल सर्टिफिकेट बनाने वाले रैकेट का खुलासा किया है। ये रैकेट जेल में कैद कैदियों की जमानत और पैरोल के लिए फर्जी मेडिकल सर्टिफिकेट बनाता था। इसके लिए उनसे मोती रकम वसूली जाती थी। इस गिरोह का पर्दाफ़ाश उस समय हुआ, जब तिहाड़ जेल में बंद एक कैदी ने अपनी पत्नी की तबीयत खराब बताकर पैरोल मांगी।

ये भी पढ़ें- गाड़ी के कागज मांगने पर चबा गया पुलिसकर्मी की उंगली, आरोपी गिरफ्तार

दरअसल दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने साल 2019 में 330 किलो हेरोइन पकड़ी थी जिसकी कीमत 1 हजार करोड़ से ज्यादा की थी। इस मामले में सेल ने रईस खान नाम के एक ड्रग सरगना को गिरफ्तार किया था। फिलहाल राईस तिहाड़ जेल में बाद है। उसने हाईकोर्ट से ये कहकर जमानत मांगी थी कि उसकी पत्नी जीनत की तबीयत खराब है और उसका ऑपरेशन करवाना है। इसके लिए उसने हाईकोर्ट ने फर्जी मेडिकल सर्टिफिकेट भी लगाया था।

ये भी पढ़ें- कोर्ट रूम में घुसकर जज पर दो पुलिसकर्मियों ने तानी पिस्तौल, वकीलों ने बचाई जन

सर्टिफिकेट देखने के बाद दिल्ली हाईकोर्ट ने स्पेशल सेल को सर्टिफिकेट की जांच करने के लिए कहा था। साथ ही सर्टिफिकेट बनाने वाले डॉक्टर की भी जांच करने के लिए कहा था। जांच में स्पेशल सेल ने पाया कि सर्टिफिकेट बनाने वाला डॉक्टर झोलाछाप है। ये डॉक्टर विचाराधीन कैदियों को जमानत दिलाने के लिए फर्जी मेडिकल सर्टिफिकेट बनाने का पूरा रैकेट चला रहा है।

ये भी पढ़ें- इंदौर में दिनदहाड़े डकैती, मां-बेटी को कमरे में बंद कर की लूट

जांच रिपोर्ट हाईकोर्ट में सौंपने के बाद कोर्ट ने डॉक्टर के खिलाफ मामला दर्ज कर पूरे रैकेट का पर्दाफाश करने का आदेश दिया। कोर्ट के आदेश के बाद स्पेशल सेल ने नोएडा से डॉक्टर राम कृष्ण को गिरफ्तार कर लिया। झोलाछाप डॉक्‍टर ने माना कि अब तक आरोपी दर्जन भर कैदियों के लिए मेडिकल सर्टिफिकेट तैयार कर चुका है। जल्द ही इस रैकेट के और भी लोग गिरफ्तार कर लिए जाएंगे।

 

 

Leave a reply

Please enter your comment!
Please enter your name here